
राजेश दीक्षित का पं. दीनदयाल विद्यालय में प्रेरक उद्बोधन, प्रतिभावान विद्यार्थियों का सम्मान
लखीमपुर खीरी। पंडित दीनदयाल उपाध्याय सरस्वती विद्या मंदिर इंटर कॉलेज, सीबीएसई बोर्ड, लखीमपुर खीरी में सोमवार को राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के वरिष्ठ स्वयंसेवक श्री राजेश दीक्षित का आगमन हुआ।
कार्यक्रम का शुभारंभ विद्यालय प्रांगण में मां सरस्वती के चित्र के समक्ष दीप प्रज्ज्वलन के साथ हुआ। दीप प्रज्ज्वलन का कार्य श्री राजेश दीक्षित एवं विद्यालय के प्रधानाचार्य अरविंद सिंह चौहान ने संयुक्त रूप से संपन्न किया।
अपने उद्बोधन में श्री दीक्षित ने छात्रों को गणेश चतुर्थी के महत्व से अवगत कराते हुए कहा कि यह पर्व विघ्नहर्ता भगवान गणेश की उपासना का प्रतीक है। यह दिन हमें जीवन में सद्बुद्धि, विवेक, साहस और नई शुरुआत करने की प्रेरणा देता है। उन्होंने कहा कि गणेश चतुर्थी केवल धार्मिक पर्व नहीं, बल्कि जीवन में आने वाली बाधाओं को दूर करने और सकारात्मकता अपनाने का संदेश देती है।
उन्होंने ऋषि पंचमी के महत्व पर भी प्रकाश डालते हुए कहा कि यह पर्व हमारे ऋषि-मुनियों और गुरुजनों के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करने का अवसर है। उन्होंने विद्यार्थियों को प्रेरित करते हुए कहा कि गुरुजनों का सम्मान और उनके आदर्शों का अनुसरण ही सच्ची श्रद्धांजलि है।
इस अवसर पर विद्यालय में विभिन्न प्रतियोगिताओं में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने वाले छात्रों को सम्मानित किया गया।
विगत 7, 8 व 9 अगस्त 2025 को रायबरेली में आयोजित प्रांतीय कबड्डी प्रतियोगिता में विद्यालय की अंडर-17 टीम ने द्वितीय स्थान प्राप्त कर विद्यालय का नाम रोशन किया।
इसी प्रकार प्रांतीय खो-खो प्रतियोगिता (अंडर-14) में विद्यालय के भैयाओं ने प्रथम स्थान प्राप्त किया।
इसके बाद 23, 24 व 25 अगस्त 2025 को फतेहपुर विप रोड पर आयोजित क्षेत्रीय प्रतियोगिताओं में इन छात्रों ने शानदार प्रदर्शन करते हुए तृतीय स्थान प्राप्त किया।
29 अगस्त 2025 को खेल निदेशालय द्वारा खेल दिवस के अवसर पर आयोजित हैंडबॉल प्रतियोगिता में विद्यालय की अंडर-17 बहनों ने तृतीय स्थान तथा अंडर-19 बहनों ने द्वितीय स्थान अर्जित कर विद्यालय को गौरवान्वित किया।
कार्यक्रम के समापन पर विद्यालय के प्रधानाचार्य श्री अरविंद सिंह चौहान ने मुख्य अतिथि का आभार व्यक्त किया और कहा कि ऐसे आयोजन छात्रों में सांस्कृतिक जागरूकता, नैतिक मूल्यों और खेल भावना को बढ़ावा देते हैं।


