डिंडौरी : 12 दिसंबर, 2025
कलेक्टर श्रीमती अंजू पवन भदौरिया के मार्गदर्शन में जिलेभर में 100 दिवसीय बाल विवाह मुक्त भारत अभियान के अंतर्गत निरंतर जन-जागरूकता कार्यक्रम संचालित किए जा रहे हैं। इसी क्रम में जिले के विभिन्न शैक्षणिक संस्थान शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय रैपुरा, उच्चतर माध्यमिक विद्यालय भोंदू टोला (पुरानी डिंडौरी) एवं शासकीय उत्कृष्ट महाविद्यालय मेहंदवानी में बाल विवाह रोकथाम हेतु विशेष जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए गए।
विद्यार्थियों को बाल विवाह के दुष्परिणामों की जानकारी
सत्रों के दौरान विद्यार्थियों को बताया गया कि बाल विवाह से शारीरिक कमजोरी, शिक्षा में बाधा, मानसिक विकास में रुकावट, हिंसा व दुर्व्यवहार का जोखिम, समयपूर्व गर्भावस्था, मातृ मृत्यु दर में वृद्धि जैसी गंभीर समस्याएँ उत्पन्न होती हैं।
कार्यक्रम में स्पष्ट किया गया कि बाल विवाह करना, करवाना, सहायता या प्रोत्साहन देना पूर्णतः दंडनीय अपराध है, जिसमें 2 वर्ष तक का कठोर कारावास, 1 लाख रुपये तक का जुर्माना अथवा दोनों का प्रावधान है।
सामूहिक शपथ व हस्ताक्षर अभियान
शालाओं में विद्यार्थियों, शिक्षकों, आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं एवं पर्यवेक्षकों द्वारा “बाल विवाह नहीं करेंगे, न होने देंगे” की सामूहिक शपथ ली गई।
साथ ही विद्यार्थियों ने हस्ताक्षर अभियान में बढ़-चढ़कर भाग लेते हुए बाल विवाह उन्मूलन के समर्थन में अपनी प्रतिबद्धता दर्ज की।
अधिकारियों व स्टाफ की सक्रिय उपस्थिति
जागरूकता कार्यक्रम में विद्यालयों के प्राचार्य एवं शिक्षकगण, सेक्टर पर्यवेक्षक सोनल उइके, यशोदा भलावी, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता, आईसीपीएस टीम, काउंसलर सुषमा डोंगरे, आउटरीच वर्कर पूजा तेकाम तथा महिला एवं बाल विकास विभाग का स्थानीय स्टाफ सक्रिय रूप से उपस्थित रहे।
रिपोर्ट लीलाराम साहू डिंडोरी

