विधानसभा और लोकसभा चुनाव में भाजपा के हाथों करारी हार का सामना करने के बाद कांग्रेस ने अब पूरा फोकस संगठन को सशक्त बनाने पर कर दिया है। वर्ष 2025 को पार्टी ने अपना संगठन वर्ष घोषित किया है। पार्टी अब गुजरात के बाद मध्य प्रदेश के संगठन में आमूलचूल परिवर्तन के लिए अभियान चलाने जा रही है।
23 साल से मध्य प्रदेश में कांग्रेस वनवास काट रही है। कमल नाथ के नेतृत्व में 2018 में सरकार बनी, पर डेढ़ साल ही चल सकी। विधानसभा और लोकसभा चुनाव के समय बड़ी संख्या में नेता और कार्यकर्ता पार्टी छोड़कर चले गए। संगठन का ताना-बाना बिखर गया।

अब कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी मप्र में नई कांग्रेस खड़ी करेंगे। इसके लिए संगठन सृजन अभियान प्रारंभ किया जा रहा है। इसकी शुरुआत मंगलवार, 3 जून को भोपाल में राहुल गांधी ही करेंगे। वे 5 घंटे में तीन बैठकों और अधिवेशन में भाग लेंगे। राहुल गांधी भोपाल पहुंचे, तो कार्यकर्ताओं ने गर्मजोशी से स्वागत किया।

विभीषणों को चिन्हित करने की बात कह चुके राहुल गांधी
मध्य प्रदेश में अब कांग्रेस नया नेतृत्व तैयार कर रही है। अभी तक यह कमल नाथ, दिग्विजय सिंह जैसे नेताओं के हाथों में रहा है। राहुल गांधी मध्य प्रदेश में भी ‘विभीषणों’ को चिन्हित करने की बात भी कह चुके हैं।
जीतू पटवारी को प्रदेश अध्यक्ष, उमंग सिंघार को नेता प्रतिपक्ष और हेमंत कटारे को उपनेता बनाकर पीढ़ी परिवर्तन की कवायद भी प्रारंभ कर दी गई है। इस बीच, देश में जनगणना के साथ जाति आधारित गणना का श्रेय पार्टी राहुल गांधी को देगी। इसके लिए प्रदेश कांग्रेस पूरे प्रदेश में अभियान चलाएगी।
संगठन सृजन अभियान के दौरान ही कार्यकर्ता घर-घर जाकर बताएंगे कि राहुल गांधी के जाति आधारित गणना करने का मुद्दा उठाने के बाद भारत सरकार को झुकना पड़ा और वह इसके लिए तैयार हुई। विमानतल से प्रदेश कांग्रेस कार्यालय तक 52 द्वार भी बनाए गए है, जिनमें जाति आधारित गणना के लिए धन्यवाद ज्ञापित किया गया है।
भोपाल में राहुल गांधी का प्रोग्राम
राहुल गांधी सबसे पहले प्रदेश कांग्रेस कार्यालय पहुंचेष। यहां राजनीतिक मामलों की समिति के साथ बैठकों की शुरुआत हुई। इसमें पूर्व मुख्यमंत्री कमल नाथ, दिग्विजय सिंह, प्रदेश प्रभारी हरीश चौधरी, प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी, विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार सहित सभी वरिष्ठ नेताओं ने भाग लिया।

इसके बाद सांसदों एवं विधायकों के साथ संवाद होगा। इसके बाद केंद्रीय पर्यवेक्षक और प्रदेश कांग्रेस के प्रभारियों की संयुक्त बैठक होगी। इसमें संगठन सृजन अभियान की रूपरेखा व पर्यवेक्षकों की भूमिका पर बात होगी।
ढाई बजे से रवींद्र भवन सभागार में अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी, प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रतिनिधि जिला और ब्लॉक कांग्रेस अध्यक्षों का अधिवेशन होगा।